पंद्रह साल पहले हुए भुगतान की सड़क पंद्रह साल बाद भी अधूरी
रिपोर्ट- इंद्रजीत असवाल
सतपुली। पहाड़ो में मतलबी नेताओं और भ्रष्ट अधिकारियों की वजह से बड़े-बड़े घोटाले सामने आते हैं और जांच शब्द कहकर अधिकारी जनप्रतिनिधि उसे ढक देते हैं।
उत्तराखंड सरकार कहती है कि, जीरो टॉलरेंस लेकिन इस मामले में क्यो नही दिख रहा जीरो टॉलरेंस?
दरसल, सतपुली के निकट कुल्हाड़ किनसुर मोटर मार्ग की है, जिसकी स्वकीर्ति लगभग सन 2000 में हुई 2008 तक ये मार्ग 8 किलोमीटर तक बन गया।
उससे आगे 9 से 12 किलोमीटर तक के मार्ग निर्माण की पेमेंट लोक निर्माण विभाग लैंसडाउन के किसी भ्रष्ट अधिकारी ने निर्माण से पहले ही कर दी, लेकिन मार्ग आज तक नही बना।
ये हम नही, बल्कि सूचना अधिकार अधिनियम के तहत मिली जानकारी कह रही है।
RTI कार्यकर्ता चंद्रमोहन डोबरियाल ने बताया कि, उनके द्वारा शासन-प्रसाशन को कई बार अवगत करवाया गया परन्तु जांच शब्द कहकर सभी ने पल्ला झाड़ लिया।
चंद्रमोहन डोबरियाल ने प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री सहित सम्बंधित विभाग के अधिकारियों को भी सूचित किया, लेकिन आज तक, न सड़क बनी न उक्त कार्यदाई संस्था से धन वसूली की गई।
इस मामले में हमारे द्वारा लोक निर्माण विभाग के प्रभारी एक्शन विवेक सेमवाल से जबाब मांगा गया तो उनका कहना था कि, मामले में शासन स्तर पर जांच चल रही है।
उक्त ठेकेदार को ब्लैक लिस्ट कर दिया गया है। अब सवाल उठता है कि, ये जांच बैलगाड़ी में चल रही है, या साइकल पर जो विगत 15 वर्षों से पूरी नही हो पाई।
आखिर उस जिम्मेदार अधिकारी जिसने पेमेंट ठेकेदार को बिना काम के ही कर दिया, उस पर क्या कार्यवाही हुई, यदि नही हुई तो क्यो नही हुई? हम बताते हैं कि, कार्यवाही इसलिये नही हुई कि, क्योंकि उक्त पेमेंट में सभी अधिकारियों ने कमीशन पहले ही खा रखी है, जिस वजह से आज तक कोई कार्यवाही नही हुई।
भ्रष्ट नेता या जांच अधिकारी जब भी जांच आगे बढते है तो उनकी जेबो में सोने के सिक्के खड़कने लगते हैं। जिनके वजन से जांच दब जाती है