बिग ब्रेकिंग: बनभूलपुरा हिंसा मामले में हाईकोर्ट ने SSP और DM से मांगा जवाब

बनभूलपुरा हिंसा मामले में हाईकोर्ट ने SSP और DM से मांगा जवाब

नैनीताल। उत्तराखंड उच्च न्यायालय ने हल्द्वानी के बनभूलपुरा में सरकारी भूमि पर निर्मित मस्जिद और स्कूल हटाने के दौरान हुई घटना में दो लोगों की मौत और घायलों को मुआवजा देने के मामले में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की रिपोर्ट के आधार पर स्वतः संज्ञान लेते हुए जनहित सुनवाई की।

मुख्य न्यायधीश रितु बाहरी और न्यायमूर्ति राकेश थपलियाल की खण्डपीठ ने नैनीताल की जिलाधिकारी से जवाब पेश करने को कहा है।

न्यायालय ने यह भी बताने को कहा है कि, वो अधिकारी कौन थे जिन्होंने सरकारी भूमि पर अतिक्रमण के बावजूद बिजली, पानी और राशन कार्ड जारी किए ? उनके खिलाफ क्या एक्शन लिया गया ? अब जब उन्हें वहां रहते हुए कई दशक हो गए हैं, तब उनके आशयाने तोड़े जा रहे है। ये कैसी इंसानियत है ?

मामले के अनुसार, उच्च न्यायलय ने जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के 19 फरवरी 2024 के पत्र का स्वतः संज्ञान लिया। इस मामले में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के पास घटना के दौरान मृत और घायलों को मुआवजा देने के प्रार्थनापत्र दिए गए थे।

उसमें कहा गया था कि घटना के समय दो लोगों की मौके पर ही मौत हो गयी थी, जबकि दो लोगों को गम्भीर हालात में अस्पताल में भर्ती कराया गया था।

घटना के बाद दोनों मृतकों के परिवारों पर रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो गया, लिहाजा उनके परिजनों को सरकार की 2020 नियमावली के अंतर्गत मुआजा दिया जाए।

गम्भीर रूप से घायल लोगों को भी मुआवजा मिले। खंडपीठ ने नैनीताल के जिलाधकारी और एस.एस.पी.को जवाब देने के निर्देश दिए हैं।