विशेष रिपोर्ट: प्रदेश में कुदरत का कहर। सड़क टूटी, रेलवे ट्रैक डूबा, बाढ़ जैसे हालात

प्रदेश में कुदरत का कहर। सड़क टूटी, रेलवे ट्रैक डूबा, बाढ़ जैसे हालात

कालाढुंगी। लोक निर्माण विभाग हल्द्वानी के अंतर्गत हल्द्वानी – रामनगर स्टेट हाईवे की पुलिया कालाढूंगी के पास विदरामपुर गांव के समीप क्षतिग्रस्त हो गई, जिसके चलते देहरादून से हल्द्वानी आदि जगहों से आने जाने वाले यात्रियों को परेशानी का सामना करना पडा बता दें कि पहाड़ों से मैदानी क्षेत्रों में पिछले तीन दिनों से लगातार हो रही भारी बरसात के चलते काफी मार्ग अवरुद्ध हैं।

आज सुबह यह हल्द्वानी रामनगर स्टेट हाईवे की पुलिया भी तेज बहाव के चलते काफी हद तक बह गई वहीं सुरक्षा को लेकर कालाढूंगी एसडीएम रेखा कोहली ,लोकनिर्माण विभाग ,और राजस्व विभाग की टीमों ने संयुक्त रूप से तेज बहाव वाली जगह का निरीक्षण किया और आमजन से
सतर्कता बरतने की अपील भी की।

 

वही कालाढूंगी एसडीएम रेखा कोहली ने लोक निर्माण विभाग हल्द्वानी के अधिकारियों को निर्देशित किया कि यथाशीघ्र क्षतिग्रस्त पुलिया की मरम्मत कर आवाजाही सुचारू करे वही किसी आपदा से निपटने के लिए एसडीएम कालाढूंगी ने 05942242222 नंबर जारी किया ।।

पुलिस जारी किया रूट डायवर्जन

  • आज दिनांक 07.07.2024 को अत्यधिक बरसात होने के कारण कालाढूंगी क्षेत्र में हल्द्वानी रामनगर हाईवे के बीच में पुलिया टूटने के कारण रूट डायवर्जन किया गया।
    कृपया रुट प्लान के अनुसार ही यात्रा करें।
  • रामनगर से हल्द्वानी आने वाले वाहन
    नया गाँव, बाजपुर, दोराहा, गदरपुर, रूद्रपुर, से होते हुए हल्द्वानी जायेंगे।
  • देहरादून, हरिद्वार, बिजनौर, जसपुर, हल्द्वानी आने वाले वाहन
    काशीपुर से दोराहा, गदरपुर, रूद्रपुर से होते हुए हल्द्वानी जायेंगे।
  • हल्द्वानी की ओर से कालाढूंगी बाजपुर/रामनगर को आने वाले वाहन
    हल्दानी से बाया रूद्रपुर गदरपुर, दौराहा, काशीपुर होते हुए जायेंगे।
  • दिल्ली/नोयडा गाजियाबाद / अफजलगढ/ जसपुर से हल्द्वानी आने वाले वाहन
    वाया काशीपुर, दौराहा, गदरपुर, रूद्रपुर से होते हुए हल्द्वानी जायेंगे।
  •  हल्द्वानी को जाने वाले दोपहिया वाहन
    वाया कालाढूंगी, चकलुवा, विदरामपुर, भांखडा पुल होते हुये हल्द्वानी जायेगे।
  • सभी से अपील अनावश्यक रूप से नदी नालों के तेज बहाव पार करने का प्रयास न करें।
  • सतर्क रहें सुरक्षित रहें। किसी भी आपातकाल में 112 पर कॉल करें

रेलवे स्टेशन लालकुआं के रेलवे ट्रैक डूबे

लालकुआं। नैनीताल में पिछले तीन दिनों से भरी बरसात हो रही है बरसात के चलते जहां जन जीवन अस्त व्यस्त है तो लोगों को भी मुसीबत झेलनी पड़ रही है बारिश इतनी है कि कुमाऊं के सबसे बड़े रेलवे स्टेशन लालकुआं के रेलवे ट्रैक डूब चुके हैं।

लालकुआं रेलवे स्टेशन पर भारी मात्रा में पानी आ जाने से प्लेटफार्म नंबर 1 से लेकर चार तक पूरी तरह से डूब चुके हैं रेलवे ट्रैक डूब जाने से प्लेटफार्म नंबर 1 से लेकर चार तक संचालित होने वाली सभी ट्रेनों को रोक दिया गया है।

रेलवे प्रशासन रेलवे ट्रैक से पानी निकालने में जुटा हुआ है लेकिन भारी बरसात के चलते लगातार रेलवे ट्रैक पर पानी बढ़ रहा है यही नहीं रेलवे ट्रैक पर पानी आ जाने से सबसे अधिक असर काशीपुर बरेली रेल मार्ग पर पड़ा है जहां कई ट्रेनों को दूसरे स्टेशनो पर रोका गया है यही नहीं रेलवे ट्रैक का पानी आबादी वाले इलाकों में पहुंच गया है जिसके चलते कई घरों में पानी घुस गया है।

पानी घुसने से जहां लोगों को भारी नुकसान पहुंचा है तो वही रेलवे ट्रैक के किनारे रहने वाले लोग घर छोड़कर रेलवे लाइन के किनारे सुरक्षित चले गए हैं। बारिश का पानी काशीपुर रेलवे ट्रैक से होते हुए लालकुआं के निचले आबादी वाले क्षेत्र में पहुंच रहा है जिसके चलते बिन्दुखत्ता क्षेत्र के खेत भी जलमग्न हो गए हैं बारिश के चलते लोग घरों में कैद है।

वह खटीमा और बनबसा में हालात इतने बेकाबू हो गए हैं कि सड़कें पूरी तरह से जलमग्न हो चुकी हैं। शहर में बाढ़ की स्थिति बन गई है शहर में जल भराव के चलते लोगों के घरों में पानी घुस गया है पूरे खटीमा क्षेत्र में बाढ़ जैसी स्थिति पैदा हो गई है लोग घरों के छत पर रहने को मजबूर हैं।

अंतर्राष्ट्रीय स्टेडियम की तरफ भू- कटाव शुरू

हल्द्वानी में पिछले 48 घंटे से हो रही भारी बरसात और गौला नदी के जलस्तर बढ़ने से क्रिकेट स्टेडियम की तरफ भूकटाव शुरू हो गया है। जानकारी मिलते ही मौके पर सिटी मजिस्ट्रेट ए पी बाजपेई, सहायक खेल निदेशक राशिका सिद्दीकी और तहसीलदार सचिन कुमार ने अधिकारियों सहित मौके का निरीक्षण किया।

सिटी मजिस्ट्रेट ए पी बाजपेई ने अंतरराष्ट्रीय स्टेडियम के गौला नदी किनारे पश्चिमी छोर का निरीक्षण करते हुए लगातार गोला नदी के जलस्तर से हो रहे भू कटाव का निरीक्षण किया।

इस दौरान बताया कि खेल विभाग के उच्च अधिकारियों को इस संबंध में अवगत करा दिया गया है। साथ ही जलस्तर कम होने के बाद उपरोक्त हिस्से में बाढ़ सुरक्षात्मक कार्य करने के निर्देश दिए गए हैं तथा खेल विभाग के अधिकारियों को लगातार मॉनिटरिंग करने को कहा गया है।

नैनीझील का बढ़ा जलस्तर

उत्तराखंड के नैनीताल की भारी बरसात ने पिछले 8 दिनों में ही नैनीझील का जलस्तर शून्य से तेजी से बढ़ाकर 6.5फीट तक ला खड़ा किया है। ये जलस्तर पिछले वर्ष 1 से 8 जुलाई तक 343एम.एम.के मुकाबले इस वर्ष 512एम.एम.हो चुका है।

नैनीताल की विश्व विख्यात नैनीझील में गर्मियों के जून माह के दौरान जलस्तर बहुत कम रह जाता है। इस दौरान पेयजल की अधिक खपत और बरसात नहीं होने के कारण जलस्तर शून्य और माइनस तक चला जाता है।

 

इस वर्ष 12 जून को झील का जलस्तर शून्य था और 21 जून को सबसे कम माइनस आठ इंच(-8″)तक गिर गया। जिसके बाद हल्की बरसात के साथ ही 26 जून तक जलस्तर शून्य और फिर बढ़कर सात इंच हो गया। तब से अबतक जलस्तर 6 फीट और बड़ गया है।

नैनीताल में एक जनवरी से अबतक 874एम.एम.बरसात हो चुकी है, जिसमें से पिछले 8 दिनों में ही 512एम.एम.बरसात दर्ज हुई है। बीते वर्ष इस वक्त 962एम.एम.बरसात हुई थी, जबकि झील का जलस्तर 6फीट पहुंचा था।

वर्तमान में झील का जलस्तर 6.5फीट पहुँच चुका है। वर्ष 2023 में एक से 8 जुलाई तक 343एम.एम.जबकि 2024 में इसी अवधि में 512एम.एम.बरसात देखी गई।

नैनीताल में 1 जुलाई 2024 को 95एम.एम., 2 जुलाई को 0(शून्य)एम.एम., 3 जुलाई को 43एम.एम., 4 जुलाई को 25एम.एम., 5 जुलाई को 19एम.एम., 6 जुलाई को 117एम.एम., 7 जुलाई को 134एम.एम.और 8 जुलाई को 79एम.एम.बरसात नोट की गई जिसने झील के
जलस्तर को एकदम बड़ा दिया है।

 

सिंचाई विभाग की देखरेख वाली नैनीझील के जे.ई.नीरज तिवारी ने कहा कि नालों से मलुवे को लेबर के माध्यम से निकाला जाता है। उन्होंने कहा कि नैनीझील को भरने वाले नालों में टूटफूट नहीं हुई है, केवल एक नाले की दीवार श्रतिग्रस्त हुई है। विभाग, झील और नालों पर लगातार नजर बनाए हुए है।