पूर्व सीएम हरीश ने मुख्यमंत्री शपथ ग्रहण समारोह में न जाने की बताई यह वजह। पढ़िए….
कांग्रेस के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने 23 मार्च को हुए मुख्यमंत्री शपथ ग्रहण समारोह में न जाने के कारण चल रही टिपन्नियों पर जवाब देते हुए अपने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट के माध्यम से लिखा कि, कांग्रेस के नेताओं के लिए कहीं कोई सम्मान नहीं था।
उन्होंने कहा कि, हमारा कोई शपथ ग्रहण समारोह से दूरियां बनाने का उद्देश्य नहीं था। मैंने सीएम पुष्कर सिंह धामी को मुख्यमंत्री पद की बधाई भी दी और पूरा समारोह फोन पर लाइव भी देखा।
ऐसा नहीं है कि, भाजपा सरकार ने निमंत्रण ना दिया हो, लेकिन जो निमंत्रण पत्र मुझे भेजा गया था, उस पर कार पार्क करने का कोई स्थान इंडिकेटर नहीं था
जहां देश के पूर्व शीर्षस्थ शासक उपस्थित हो और आप उस जगह पर बिना किसी स्थान और ना कोई कार पार्क की व्यवस्था में जाते हैं, तो ऐसे में आप सुरक्षा व्यवस्था में नुकसान जैसी स्थिति पैदा कर सकते है।
जब पिछली बार यह मौका आया था, तब में वहां उपस्थित रहा, साथ ही सभी को बधाइयां दी और सभी के साथ बैठा।
यही नहीं पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने यह भी कहा कि, मेरा मानना है कि, मुख्यमंत्री शपथ ग्रहण समारोह राज्य के लिए महत्वपूर्ण होता है। इस अवसर पर विपक्ष के नेताओं और पूर्व मुख्यमंत्रियों को सम्मान के साथ बुलाया जाना चाहिए।
लेकिन मुझे ऐसी कोई व्यवस्था नहीं दिखी, जिसके बाद मैंने बहुत सोच समझकर शपथ ग्रहण समारोह में न जाने का यह निर्णय लिया।