अपडेट: भारी बारिश के कारण जन-जीवन अस्त-व्यस्त। 16 लोगो की मौत

भारी बारिश के कारण जन-जीवन अस्त-व्यस्त। 16 लोगो की मौत, जलमग्न हुआ नैनिताल

उत्तराखंड में पिछले 2 दिनों से हो रही बारिश की वजह से आम जनजीवन जहां प्रभावित हुआ है। वहीं प्रदेश में बारिश और बादल फटने की वजह से अब तक 16 लोगों की मौत हो चुकी है।

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी लगातार हो रही बारिश को लेकर अलर्ट मोड में नजर आ रहे हैं। आज भी मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सुबह आपदा कंट्रोल रूम पहुंचकर अधिकारियों के साथ बैठक की।

जिसमें उन्होंने रेस्क्यू ऑपरेशन के लिए वायु सेना की भी मदद मांगी है, हवाई सेना के तीन हेलीकॉप्टर रेस्क्यू ऑपरेशन में जुटी है। जिनमें से 2 हेलीकॉप्टर कुमाऊं और एक हेलीकॉप्टर गढ़वाल में तैनात होगा।

मुख्यमंत्री ने प्रदेश की जनता से अपील भी की है कि इस समय घबराने की जरूरत नहीं है सरकार पूरी तरीके से प्रदेश वासियों के साथ खड़ी है।

वही आपदा सचिव एमए मुरुगेशन का कहना है कि, राहत एवं बचाव कार्यों के लिए टीम जुट गई है। नैनीताल जिले में बादल फटने से ज्यादा नुकसान हुआ है।

वही रामनगर में कुछ लोगों के फंसे होने की सूचना है जिनको रेस्क्यू किया जा रहा है।

वहीं नैनीताल के रामनगर में भी बारिश ने कहर बरपाया हुआ है, कोसी नदी का जलस्तर बढ़ता जा रहा है। जिससे स्थानीय लोगों ने उत्तर प्रदेश के लिए अलर्ट जारी किया है।

रामनगर में कोसी नदी का जलस्तर एक लाख चालीस हजार क्यूसेक से अधिक पहुँच चुका है, प्रशासन के द्वारा नदी के आस-पास रह रहे लोगों को हटा दिया गया है। साथ ही उत्तर प्रदेश को भी अलर्ट जारी कर दिया गया है।

वही राम नगर विधायक दीवान सिंह बिष्ट भी जायजा लेने मौके पर पहुंचे और स्थानीय अधिकारियों को निर्देशित किया है कि, लोगों की ज्यादा से ज्यादा सहायता करें।

रामनगर में अभी भी कई जगहों पर पानी भरा हुआ है और नदी का जलस्तर लगातार बढ़ता जा रहा है। जो कि 2010 में आई आपदा के निशान को छूने वाला है। जिससे बड़ी तबाही होने की आशंका जताई जा रही है

नैनीताल में पिछले 40 घंटे से हो रही लगातार मूसलाधार बरसात से नैनीताल झील का जलस्तर बेतहाशा बढ़ गया है।

झील के चारों गेट पूरे 12 इंच खुले होने के बावजूद भी झील का जलस्तर लगातार बढ़ता जा रहा है और झील का पानी माल रोड में व तल्लीताल बस स्टैंड होते हुए भवाली और हल्द्वानी रोड को नदी के रूप में बह रहा है।