मुख्यमंत्री के गृह क्षेत्र में पानी की किल्लत, ग्रामीण पेयजल के लिए परेशान
– पेयजल का सिंचाई में प्रयोग। ग्रामीण पेयजल के लिए
रिपोर्ट- इंद्रजीत असवाल
सतपुली। यूँ तो आजकल पहाडों में पानी की क़िल्लत छा रखी है। ग्रामीण क्षेत्रों में लोग दूर-दूर से पानी ढो रहे हैं। यहाँ तक कि खुद मुख्यमंत्री के गृह क्षेत्र में भी पानी की किल्लत हो रखी है। आज हम आपको जिस गांव की खबर दिखा रहे हैं, जहाँ पर विधायक निधि व ग्राम पंचायत फंड से पानी के लिए कई रुपये अब तक खर्च भी हो चुके हैं। पानी भी स्रोत पर पर्याप्त है, परन्तु कुछ दबंगो के कारण पेयजल गांव के अन्य ग्रामीणों को सुचारू रूप से नही मिल पा रहा है।
जी हाँ बात सतपुली के निकट चमोलीसैंण गांव की है। जहाँ पर एक शिकायत कर्ता मालिकराज डोबरियाल ने तहसील में शिकायती पत्र दिया जिसमें उसके द्वारा कहा गया कि, कुछ दबंगो के द्वारा पेयजल को सिंचाई जल बनाने की वजह से गांव के कुछ परिवारों को पानी नही मिल पा रहा है और साथ में ये भी कहा गया है कि, ग्राम सभा की खुली बैठक में लोगो से कोरे कागज पर हस्ताक्षर करवाये जाते हैं और बाद में उसमें अपनी मर्जी से चहेते लोगो को फायदा पहुंचाने का कार्य लिख दिया जाता है।
आज इसी सम्बन्ध में तहसील सतपुली से मौके पर नायब तहसीलदार सुधा डोभाल पहुंची, उन्होंने पूरे गांव का जायजा लिया और ग्राम सभा प्रधान को इस मामले में पहले बैठक बिठाने के लिए निर्देशित किया गया।