छात्रवृत्ति घोटाले के तीन आरोपी न्यायिक हिरासत में, अन्य 3 कॉलेजों के खिलाफ अगले 24 घंटे में मुकदमा दर्ज
देहरादून। करोड़ों रुपये के हुए छात्रवृत्ति घोटाले में शामिल तीन समाज कल्याण अधिकारियों को विजिलेंस कोर्ट ने मंगलवार को न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया है। एसआईटी जांच में छात्रवृत्ति घोटाले में दोषी सिद्ध होने पर सोमवार को रिटायर्ड सहायक समाज कल्याण अधिकारी सोमप्रकाश और मुनीष त्यागी के साथ सहायक समाज कल्याण अधिकारी विनोद नैथानी को हरिद्वार से गिरफ्तार किया था। इसके साथ ही अब इस घोटाले में शिकंजा और कसने जा रहा है। एसआईटी 24 घंटे के अंदर 3 बड़े कॉलेजों के ख़िलाफ़ केस दर्ज करने जा रही है।
बता दें कि, आज जिन तीन अधिकारियों को विजिलेंस कोर्ट ने जेल भेजा है, उनकी ज़िम्मेदारी साल 2010 से 2016 तक कॉलेजों में छात्रवृत्ति पाने वाले छात्रों का सत्यापन करना थी। लेकिन इनकी मिलीभगत से हरिद्वार ज़िले में कई कॉलेजों को छात्रवृत्ति के नाम पर पैसा गलत तरीके से बांटा गया।
एसआईटी ने मंगलवार को आरोपियों को विजिलेंस कोर्ट में पेश किया। अडिशनल डिस्ट्रिक्ट जज (थर्ड) श्रीकांत पांडे की कोर्ट ने सभी आरोपियों को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया है। छात्रवृत्ति घोटाले में अभी तक एसआईटी ने 13 कॉलेज मालिकों और चार समाज कल्याण अधिकारियों को गिरफ़्तार किया है।
एसआईटी के आईजी संजय गुंज्याल ने बताया कि, अब इस मामले में कार्रवाई और तेज होने जा रही है। मंगलवार शाम बातचीत में गुंज्याल ने कहा कि, अगले 24 घंटों में तीन बड़े कॉलेजों के खिलाफ एसआईटी मुकदमा दर्ज करेगी ये तीनों कॉलेज नैनीताल और ऊधम सिंह नगर में स्थित हैं।
आईजी संजय गुंज्याल के मुताबिक एसआईटी टीम की जांच में पता चला है कि, आरोपी तीनों शिक्षण संस्थानों ने फ़र्ज़ी एडमिशन के ज़रिए धोखाधड़ी से करोड़ों रुपये के सरकारी धन का गबन किया है।
बताते चलें कि, देहरादून-हरिद्वार को छोड़कर राज्य के बाकी 11 ज़िलों के लिए गठित की गई एसआईटी टीम कुमाऊं और गढ़वाल के आरोपी शिक्षण संस्थानों के खिलाफ पर्याप्त सबूत हासिल करने के बाद गिरफ़्तारियां कर रही है। इसलिए पर्याप्त सबूतों के आधार पर एसआईटी अगले 24 घंटे में इन तीन कालेजों के ख़िलाफ़ मुकदमा दर्ज करेगी।